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जबलपुरATS ने 3 संदिग्ध अफगानी पकड़े, फर्जी डॉक्यूमेंट बनाकर भारत में रहने का है संदेह

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ATS ने 3 संदिग्ध अफगानी पकड़े, फर्जी डॉक्यूमेंट बनाकर भारत में रहने का है संदेह

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Peptech Time, Chhatarpur
20 अगस्त 2025, 04:35 am IST
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जबलपुर: एटीएस ने जबलपुर से 3 संदिग्ध अफगानी लोगों को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया है. एटीएस पुलिस को इन लोगों की जानकारी फर्जी पासपोर्ट बनाने वाले अफगानी नागरिक शोहरत खान को पकड़ने के बाद मिली थी. उसके पास इन लोगों से जुड़े हुए दस्तावेज थे. फिलहाल एटीएस पुलिस इन लोगों से पूछताछ कर रही है. बताया जा रहा है कि इन लोगों ने फर्जी तरीके से भारत के सभी दस्तावेज बनवा रखे हैं. दस्तावेजों के आधार पर की कार्रवाई जबलपुर के छोटी ओमती इलाके में 8 नल क्षेत्र में बीते दिनों एंटी टेररिस्ट स्क्वॉड (एटीएस) ने एक घर पर छापामार कार्रवाई की थी. जिसमें एक अफगानी युवक शोहरत खान को हिरासत में लिया गया था. शोहरत खान पर आरोप था कि उसने कई लोगों के पासपोर्ट बनवाए हैं, जिसमें फर्जी कागजातों का इस्तेमाल किया गया है. यहीं पर एटीएस को कई दूसरे लोगों के दस्तावेज भी मिले थे. इन्हीं दस्तावेजों के आधार पर एटीएस ने मंगलवार को कार्रवाई करते हुए 3 अफगानी लोगों को हिरासत में लिया है. याकूब खान के मिले थे दस्तावेज इन्हीं कागजातों के आधार पर एटीएस ने याकूब खान को हिरासत में लिया. याकूब खान के कागजात भी शोहरत खान के पास मिले थे. एटीएस को इस बात का संदेह है कि याकूब भी फर्जी कागजों के आधार पर भारत में रह रहा है. याकूब के साथ यूनुस खान और अब्दुल खान को भी एटीएस ने पूछताछ के लिए हिरासत में लिया है. याकूब खान के पास मिला वोटर आईडी पकड़े गए आरोपियों ने बताया कि वे कई साल पहले अपने दादा के साथ भारत आए थे. 2013 में उन्होंने भारत का पासपोर्ट बनवाया है. इनमें से किसी के पास भी अफगानिस्तान का कोई दस्तावेज नहीं मिला है. इन लोगों ने अपने सारे दस्तावेज भारतीय बताए हैं. याकूब खान के पास आधार कार्ड, मतदाता पहचान पत्र और भारतीय पासपोर्ट भी है. याकूब खान ने पूछताछ में बताया कि वह हज करने के लिए जाना चाहता था, इसलिए उसने पासपोर्ट बनवाया था. तीनों कंबल बेचने का करते हैं काम याकूब, अब्दुल और यूनुस तीनों ही कंबल बेचने का काम करते हैं. इन लोगों का कहना है कि उनके परिवार के लोग अफगानिस्तान से आकर यहां रहने लगे थे लेकिन वह भारत के ही रहने वाले हैं. एटीएस की पूछताछ अभी भी इन लोगों से जारी हैं. याकूब खान लंबे समय से भारत में रह रहा है. उसकी उम्र लगभग 39 साल है लेकिन उसका कहना है कि वह किसी स्कूल में पढ़ने नहीं गया. हालांकि उसे उर्दू लिखना आता है, जबकि वह हिंदी में कुछ भी नहीं जानता. 100-150 संदिग्ध लोगों के अफगानी होने का दावा इसी क्षेत्र में रहने वाले भारतीय जनता पार्टी के नेता मुजम्मिल खान का कहना है कि कुछ दिन पहले शोहरत खान के साथ 3 से 4 लोग पकड़े गए थे. मंगलवार को फेरी कर रहे याकूब खान को भी एटीएस पुलिस ने पकड़ा है. वह छोटी ओमती कॉलोनी में रहता था. ये लोग इधर कब आए हैं, इसकी जानकारी तो नहीं है लेकिन करीब 10-12 साल से मैं याकूब खान को इस कॉलोनी में देख रहा हूं. इसके साथ ही उन्होंने दावा किया है कि जबलपुर में ऐसे 100-150 अफगानी लोग हैं.

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